Ontdekken postsOntdek boeiende inhoud en diverse perspectieven op onze Ontdek-pagina. Ontdek nieuwe ideeën en voer zinvolle gesprekken
वाकई आप जैसे व्यक्तित्व बिरले ही होते हैं डॉ सर Pawan Vijay जी 🙏गर्व होता है जब आप जैसे सेवाभावी लोगों को देखती हूँ। जब लोग थोड़ा कुछ कर के ढेर सारा क्रेडिट लेने खड़े हो जाते हैं, वहाँ पर आपको देखती हूँ एकदम चुपचाप से मानव सेवा करते। किसी को कोई परेशानी हो और वो आपको जानता हो तो उसको सबसे पहले बस आप याद आते हैं।
आप वाकई ईश्वर के नेक बन्दे हैं जो बिना किसी स्वार्थ के बस मानवता की सेवा कर उस पर हमारा विश्वास दृढ़ करते हैं।
साधुवाद आपको💐💐
महाकाल आपको सदैव स्वस्थ एवं प्रसन्न रखें। और आपकी सक्षमता को सदैव उन्नत रखे।
लोगों को बनारस की भयंकर चिंता छोपे हूये है..
किसी को टेंट सीटी की चिंता है तो किसी को गंगा विलास क्रुज की चिंता है..लेकिन बनारसियों के लिये यह अवसर है, और बुद्धिमान जन उसको भुनाने में लगे है ..।
बनारस मे पर्यटन कई गुना बढ़ गया है और अगले पाँच सात वर्ष मे यह कई गुना और बढ़ने वाला है और साथ मे उद्योग , उद्यमिता भी बढ़ेगी। मेरे पास वाराणसी के सकल घरेलू उत्पाद(GDP) के आकड़े तो नही है, लेकिन यह आज यदि एक रुपया है तो यह मान कर चलिए कि आगामी पाँच वर्ष में यह तीन से चार रुपये हो जायेगी और इसका प्रभाव पूरे पूर्वांचल सहित बिहार पर भी पड़ेगा।
अब कोई कहेगा कि हर बात मे धन नहीं देखा जाता तो मै कहूंगा कि फिर आप क्यों धन के पीछे पड़े है ..सब दान कर के एक कोई घाट पकड़कर हरि भजन किजिए। बिना धन के धर्म और बिना धर्म के धन असंभव है।
परिवर्तन को जो जितने जल्दी भापकर स्वयं को उसके अनुसार ढाल ले अंततः वहीं विजेता है
हमारे सांसद और देश के प्रधानमंत्री श्री Narendra Modi जी से मेरा बस एक निवेदन है, नगरों का गंदा पानी गंगा जी मे न जाने पाये ..बस इसका उपाय और निगरानी बढ़िया से कर दें, वाराणसी के सारे गंदे नालों का पानी आज भी गंगाजी मे ही जाता है, सामने घाट पर एक परियोजना लगी भी है लेकिन वो नाकाफी है।
हमारे परिवहन मंत्री श्री Nitin Gadkari जी की सहायता इस कार्य मे ली जा सकती है , वो स्वयं एक साक्षात्कार में बता रहें थे कि किसी नगर में वो ऐसी परियोजना चला रहे है जिसमें नगर के गंदे पानी को स्वच्छ करके वो किसी संस्थान को ही बेच देते है और उससे बीस करोड़ के करीब की आमदनी भी किये है।
मै जब अस्सी नाले से गुजरते हूये अपने अस्पताल को जाता हूँ प्रतिदिन यह देखता हूँ और बहुत दुख होता है कि ये गंदा पानी गंगा जी में जाता है और हम सब बस देख रहे है, कुछ कर नहीं रहे है, हमारे मुख्यमंत्री जी साल मे पाँच सात बार इसी रास्ते से जाते है लेकिन इस पर कुछ होता हूआ दिखाई नहीं पड़ रहा है ।।
कुछेक लोग कहते हैं कि मैं बुद्ध को नहीं मानता तो बुद्ध खुद ही कहते हैं कि मुझे मत मानो, अपना दीपक स्वयं बनो।
#नमोबुद्धाय ❤️
सुप्रभात:आपका दिन मंगलमय हो।